BSP प्रमुख मायावती ने आज समाजवादी पार्टी पर जम कर हमला बोला। उन्होंने एक के बाद एक 5 ट्वीट किये। जिसमे मायावती ने कहा कि घृणित जोड़तोड़, द्वेष व जातिवाद आदि की संकीर्ण राजनीति में माहिर समाजवादी पार्टी द्वारा मीडिया के सहारे यह प्रचारित करना कि बीएसपी के कुछ विधायक टूट कर सपा में जा रहे हैं घोर छलावा।
जबकि उन्हें काफी पहले ही सपा व एक उद्योगपति से मिलीभगत के कारण राज्यसभा के चुनाव में एक दलित के बेटे को हराने के आराप में बीएसपी से निलम्बित किया जा चुका है।
सपा अगर इन निलम्बित विधायकों के प्रति थोड़ी भी ईमानदार होती तो अब तक इन्हें अधर में नहीं रखती। क्योंकि इनको यह मालूम है कि बीएसपी के यदि इन विधायकों को लिया तो सपा में बगावत व फूट पड़ेगी, जो बीएसपी में आने को आतुर बैठे हैं।
आगे BSP प्रमुख ने कहा जगजाहिर तौर पर सपा की चाल, चरित्र व चेहरा हमेशा ही दलित-विरोधी रहा है, जिसमें थोड़ा भी सुधार के लिए वह कतई तैयार नहीं। इसी कारण सपा सरकार में बीएसपी सरकार के जनहित के कामों को बन्द किया व खासकर भदोई को नया संत रविदास नगर जिला बनाने को भी बदल डाला, जो अति-निन्दनीय।
वैसे बीएसपी के निलम्बित विधायकों से मिलने आदि का मीडिया में प्रचारित करने के लिए कल किया गया सपा का यह नया नाटक यूपी में पंचायत चुनाव के बाद अध्यक्ष व ब्लाक प्रमुख के चुनाव के लिए की गई पैंतरेबाजी ज्यादा लगती है।यूपी में बीएसपी जन आकांक्षाओं की पार्टी बनकर उभरी है जो जारी रहेगा।
राहुल गाँधी ने कहा मैं मानने को तैयार नहीं कि श्रीराम के भक्त ऐसा कर सकते, सीएम योगी ने दिया जवाब
क्या है पूरा मामला
दरअसल कल मंगलवार को BSP के 9 बागी विधायक SP प्रमुख अखिलेश यादव से मिलने पहुंचे। मीटिंग के बाद कहा गया की जल्द की ये 9 विधायक समाजवादी पार्टी में शामिल होंगे। इसके अलावा और विधायक भी BSP से टूटकर SP में आएंगे और 2022 UP चुनाव के लिए पार्टी को मजबूत करेंगे।