मोदी सरकार ने कारकोरम क्षेत्र में स्थित सियाचिन को पर्यटकों के लिए शुरू कर दिया है। रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने इसकी जानकारी देते हुए कहा की सरकार ने सियाचिन को पर्यटकों के लिए खोल दिया है। ये पर्यटन स्थल सियाचिन आधार शिविर से लेकर कुमार पोस्ट तक के क्षेत्र को बनाया गया है। राजनाथ सिंह ने बताया की सियाचिन को पर्यटन स्थल इस लिए बनाया गया है ताकि यहाँ आने वाले पर्यटक देख सके की सेना के जवान और इंजीनियर इस मौसम व विषम क्षेत्र में किस तरह रहते है व काम करते है।
पुल का किया उद्घाटन
रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने दुरबुक व दौलत बेग ओल्डी को आपस में जोड़ने वाले पुल का उद्घाटन किया। रक्षा मंत्री ने भारतीय सेना और इंजीनियर्स की तारीफ करते हुए कहा की इन लोगों ने इतनी कठिन मौषम में काम किया जो की बिलकुल आसान नहीं था। पर्यटक इस जगह आकर देख सकेंगे की सेना,इंजीनियर्स किस तरह यहाँ काम करते है और रहते है।
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Ladakh has tremendous potential in Tourism. Better connectivity in Ladakh would certainly bring tourists in large numbers.
The Siachen area is now open for tourists and Tourism. From Siachen Base Camp to Kumar Post, the entire area has been opened for Tourism purposes.
— Rajnath Singh (@rajnathsingh) October 21, 2019
खून जमा देने वाली ठण्डl
सियाचिन 20000 फुट की उचाई पर कारकोरम क्षेत्र में स्थित है यहाँ दिन में तापमान -40 डिग्री सेल्सियस और रात में -70 डिग्री सेल्सियस तक पहुँच जाता है। बता दें ये तापमान इतना अधिक है की अगर गर्म पानी को हवा में फेका जाये तो वो जमीन पर गिरने से पहले ही बर्फ में बदल जायेगा। सियाचिन को दुनिया का सबसे ऊँचा युद्ध क्षेत्र भी मन जाता है। इतनी अधिक ऊंचाई पर होने के कारण सियाचिन में ऑक्सीजन की कमी भी है। सियाचिन मे भारतीय सेना की 150 पोस्ट है और करीब 10000 भारतीय सैनिक सीमा की रक्षा करते है।