UP : सरकार द्वारा कई प्रोजेक्ट चलाए गए हैं जिसमे माँ गंगा की सफाई और उनके आस पास गन्दी को हटाने की बातें हुई। लेकिन बातें सिर्फ बातें ही रह गई। नमामि गंगे सहित कई प्रोजेक्ट चलाने के बाद भी माँ गंगा का हाल बेहाल है। कई गंगा तटों पर बने घाटों पर गंदगी पसरी रहती है। जिससे माँ गंगा के दर्शन और पूजन करने वाले श्रद्धालुओ को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है।
इस समस्या को देखते हुए कानपुर के कई सामाजिक लोगो ने घाटों की सफाई करने का बीड़ा उठाया है। गुरूवार को इसकी शुरुवात कानपुर के गुप्तार घाट से कि गई। आपको बताते चले कि माँ गंगा और उनके तटों को स्वच्छ बनाये रखने के लिए नमामि गंगे प्रोजेक्ट के तहत करोडो रुपये बहा दिए गए। लेकिन माँ गंगा का स्वरुप जस का तस ही रहा। साथ ही माँ गंगा के तटों का तो बुरा हाल है। जिसको देखते हुए कानपुर के सामाजिक लोगो ने घाट की सफाई कर समाज और सरकार को एक नया सन्देश दे रहे है।
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इस पावन अभियान में अपना अहम् योगदान देने वाले प्रमोद तिवारी ने बताया कि 51 किलो दूध से माँ गंगा का अभिषेक किया गया है। उन्होंने बताया की यह घाट पचास सालो से बंद था। पांच साल पहले नमामि गंगे प्रोजेक्ट के तहत कुछ काम कराया गया। लेकिन अब नमामि गंगे का कोई कर्मचारी यंहा दिखाई नहीं पड़ता है। उनका कहना है किसमाजसेवी उमा शंकर दक्षित के अनुरोध पर अब घाट का विकास कार्य चलता रहेगा।