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What is ISO in Hindi | ISO क्या है? जानिए फुल फॉर्म, फायदे और प्रक्रिया

What is ISO in Hindi

दोस्तों आज की डिजिटल और प्रतिस्पर्धात्मक दुनिया में कंपनियों के लिए गुणवत्ता और मानकों का पालन करना बेहद जरूरी है और करना भी चाहिए  , ये अच्छे नागरिकता कि पहचान है। 

आपने अपने जीवन में अक्सर “ISO Certified” जैसे शब्दों को सुना ही होगा, तो क्या आपने सोचा है कि “What is ISO in Hindi”, मतलब ISO Kya Hai? आज हम आपको इस लेख जरिये बताएंगें कि What is ISO in Hindi, Full Form of ISO आदि को विस्तार से जानेंगे। 

ISO क्या है? – What is ISO in Hindi 

ISO का Full Form – International Organization for Standardization

ISO एक अंतर्राष्ट्रीय मानक संस्था है जो विभिन्न प्रकार के मानकों को विकसित करती है। यह मानक कंपनियों या संस्थाओं को यह सुनिश्चित करने में मदद करती है कि उनके प्रोडक्ट्स, ग्राहक समाधान, गुणवत्ता और प्रोडक्ट क्वालिटी, शुद्धता और मैनेजमेंट सिस्टम इत्यादि कि जांच करने के बाद यह प्रमाणित करती है कि यह कंपनी या संस्था एक सही तरीके से चल रही है, यह सब देखने के बाद ISO द्वारा प्रमाण पत्र दिया जाता है। 

ISO एक स्वतंत्र , गैर सरकारी संस्था है जिसकी स्थापना 1947 में हुई थी। ISO का मुख्यालय जिनेवा, स्विट्जरलैंड में हैं।  इसमें से 160 से अधिक देशों के प्रतिनिधि शामिल हैं। 

ISO Certificate क्या है? – What is ISO Certificate in Hindi 

ISO certificate एक मान्यता है जिसे किसी संस्था या कंपनी को तब दिया जाता है जब वह ISO द्वारा निर्धारित मानकों का पालन करती है। 

हम एक उदाहरण से समझ सकते हैं : यदि कोई कंपनी ISO 9001 सर्टिफाइड है तो यह इसका प्रमाण है कि वह कंपनी अपने प्रोडक्ट या सर्विस कि गुणवत्ता को सुनिश्चित करने के लिए एक सिस्टम का पालन करती है। 

ISO के प्रकार  | Types ISO Standards in hindi

ISO के कई प्रकार के होते हैं जिनका अलग अलग क्षेत्रों में उपयोग है। नीचे हमने कुछ ISO सर्टिफिकेट्स दिए हैं जिन्हें आप समझ सकते हैं :

1.  ISO 9001 (Quality Management System)

ISO 9001 सबसे सामान्य और काफी लोकप्रिय सर्टिफिकेट हैं , जिसका उद्देश्य है प्रोडक्ट और सर्विस की गुणवत्ता को बनाये रखना है 

2.  ISO 27001 (Information Security Management)

यह सर्टिफिकेट सूचना सुरक्षा कंपनियों को दिया जाता है , जैसे की IT कंपनियों के बेहद जरूरी है। 

3.  ISO 14001 (Environmental Management System)

ISO 14001 सर्टिफिकेट का उपयोग पर्यावरण प्रबंधन और इको-फ्रेंडली प्रक्रियाओं के लिए किया जाता है। 

4.  ISO 13485 (Medical Devices)

ISO 13485 सर्टिफिकेट चिकित्सा उपकरणों की गुणवत्ता और सुरक्षा के लिए होता है। 

5.  ISO 22000 (Food Safety Management)

खाद्य सुरक्षा के लिए, यह सर्टिफिकेट खाद्य कंपनियों के लिए जरूरी होता है।

ISO क्यों जरूरी है? | ( Why is ISO Important?)

ISO सर्टिफिकेट कंपनियों के काफी जरूरी होता है इसके होने से कई कंपनियों को कई फायदे भी मिलते हैं :

  1. कंपनी पर ग्राहकों का विश्वाश बढ़ता है: लोग ISO सर्टिफाइड कंपनी को अधिक भरोसेमंद मानते हैं।
  2. गुणवत्ता सुनिश्चित होती है : सभी प्रोडक्ट्स एक समान गुणवत्ता के मानक को फॉलो करते हैं।
  3. प्रतिस्पर्धा में बढ़त : ISO सर्टिफाइड कंपनियां बाज़ार में आगे रहती हैं, ISO सर्टिफाइड कंपनी की बात ही कुछ अलग रहती है। 
  4. निर्यात में मदद : ISO प्रमाणन इंटरनेशनल ट्रेड को आसान बनाता है
  5. आंतरकि प्रक्रियाओं में सुधार: कंपनी का मैनेजमेंट और वर्कफ्लो अधिक प्रभावी होता है।

ISO सर्टिफिकेट लेने के फायदे | Benefits of ISO Certification in Hindi

  • ग्राहकों और व्यापारियों का कंपनी और प्रोडक्ट पर भरोसा बढ़ता है। 
  • इसके कार्य प्रणाली में सुधार होता है। 
  • ISO सर्टिफिकेट अंतर्राष्ट्रीय स्टार पर व्यापर के लिए जरूरी है। 
  • कई सरकारी टेंडर में ISO का होना अनिवार्य है। 
  • संसाधनों की बर्बादी कम होती है। 

ISO सर्टिफिकेट कैसे प्राप्त करें?। (How to get ISO Certificate in hindi?)

ISO सर्टिफिकेट प्राप्त करने के लिए निम्नलिखित प्रक्रिया होती हैं :

  1. इसे सर्टिफिकेट  लेने वाली कंपनी को पहले यह तय करना होता है की उन्हें कौन सा ISO सर्टिफिकेट चाहिए। 
  2. इसके लिए प्रक्रियाओं, नीतियों और कार्यप्रणाली के लिए आवश्यक दस्तावेज तैयार करना। 
  3. इसके बाद मान्यता प्राप्त ISO संस्था आपके दस्तावेजों और प्रक्रियाओं का ऑडिट करती है कि आवश्यक दस्तावेज आपके पास मौजूद है कि नहीं। 
  4. ये सभी प्रक्रिया सही होने के बाद कुछ समय में सर्टिफिकेट जारी किया जाता है। 

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ISO Certificate कि लागत | ( ISO Certification Cost )

ISO सर्टिफिकेट कि लागत विभिन्न बातों पर निर्भर करती है  :

  • किस काम के लिए ISO सर्टिफिकेट चाहिए 
  • कंपनी का आकार
  • कर्मचारियों कि संख्या 
  • कंपनी अलग अलग कितने स्थानों पर कार्य कर रही है। 

ये सब देखने के बाद इसकी लागत 25 हजार से 2 लाख रूपए तक हो सकती है। 

क्या ISO सर्टिफिकेट लेना जरूरी है ? (Is ISO Certification Mandatory?)

वैसे, ISO सर्टिफिकेट का होना कानूनी रूप से होना अनिवार्य नहीं है, लेकिन इसके होने के कई फायदे हैं और यह कई सरकारी टेंडर्स में इसका होना अनिवार्य होता है।  यदि आप ISO सर्टिफिकेट नहीं लेते हैं तो कोई बात नहीं।  

निष्कर्ष | What is ISO Certificate?

मुझे आशा है कि आप समझ गए होंगें कि “व्हाट इस ISO इन हिंदी ” का सही मतलब क्या है। ISO सर्टिफिकेट लेने के कितने फायदे हैं, यदि आपके पास ISO सर्टिफिकेट नहीं और आपको लेना चाहिए या फिर नहीं लेना चाहिए आदि। 

 यदि आप कोई नया बिजनेस चला रहे हैं तो ISO सर्टिफिकेट लेने से आपके बिजनेस कि साख और सफलता दोनों में इजाफा होगा।