किसान आंदोलन को एक साल से ज्यादा का समय हो गया है। लेकिन अभी भी उनकी समस्या का हल नहीं हुआ है और कल एक ऐसी खबर आयी जिसने इस आंदोलन पर सवाल खड़े कर दिए। टिकरी बॉर्डर पर आंदोलन के दौरान एक किसान को शहीद बताकर पेट्रोल डालकर जलाने का प्रयास किया गया। उसे इलाज के लिए अस्पताल ले जाया गया लेकिन उसकी मौत हो गयी।
हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने इस मामले पर कहा कि किसान आंदोलन अगर शांति के साथ चलता रहे तो हमें कोई आपत्ति नहीं है लेकिन इसमें जो हिंसात्मक और अनैतिक गतिविधियां होने लग गई हैं, यह बुहत चिंता का विषय है। आंदोलन स्थल महिलाओं के साथ दुर्व्यवहार करने का अड्डा बन गया है।
किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा कि पता चला है कि टिकरी बॉर्डर पर कुछ लोग शराब पी रहे थे उसमें से एक किसान ने आत्महत्या की। कुछ लोगों ने कहा कि उसे जलाया गया है। यह जांच का विषय है। इसकी पूरी जांच होनी चाहिए। यह बहुत दुखद घटना है।
खुद को पुलिस बताकर कर रहे थे वसूली, जब असली पुलिस से हुआ सामना तो..
मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के बयान पर टिकैत ने कहा किसान शांतिपूर्ण आंदोलन कर रहे हैं। हमारा आंदोलन शांतिपूर्ण तरीके का है। महिलाओं के साथ दुर्व्यवहार की घटना हमारे संज्ञान में नहीं आई है। अगर किसी के साथ हुआ है तो सरकार हमें बताएं। हम जांच करेंगे और कार्रवाई करेंगे।